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चीनी सेना की खुली पोल (फोटो- Global Times)
India-China Standoff: चीनी सेना की पोल एक बार फिर खुलती नज़र आ रही है. लद्दाख बॉर्डर पर ड्रोन के जरिए सैनिकों को रसद पहुंचाने का दावा कर रही चीनी मीडिया ने अब खुद ही खच्चरों और गधों के जरिए रसद पहुंचाए जाने की तस्वीर जारी की है.
- News18Hindi
- Last Updated:
October 22, 2020, 7:43 AM IST
भारत से तनाव (India-China Standoff) के बाद से ही लद्दाख में चीनी सेना बड़ी संख्या में तैनात है. चीन की सरकारी मीडिया आए दिन ड्रोन से सैनिकों को हथियारों और खाने की डिलीवरी करने के दावे करती थी. ग्लोबल टाइम्स के दावों के बावजूद सच यही है कि चीनी सेना इन दिनों तिब्बत में भारत से लगी सीमा पर गधों और खच्चरों के जरिए फॉरवर्ड लोकेशन पर सैन्य साजो सामान और रसद की आपूर्ति कर रही है. खुद ग्लोबल टाइम्स ने ही चीनी सेना के इस ‘मिशन खच्चर’ की रिपोर्ट प्रकाशित की है.
Besides advanced technologies like drones, Chinese troops, including #Tibetan militia transport units, use mules and horses as practical approach to deliver supplies to soldiers at high-altitude bases with harsh environments near border. https://t.co/u0eQE071ZK
— Global Times (@globaltimesnews) October 21, 2020
खच्चरों से पहुंच रही रसदग्लोबल टाइम्स ने रिपोर्ट में लिखा है कि चीनी सेना की तिब्बती मिलिशिया परिवहन इकाइयां सीमा पर अधिक ऊंचाईयों पर स्थित कठिन वातावरण में आपूर्ति करने के लिए एक व्यावहारिक दृष्टिकोण के रूप में खच्चरों और घोड़ों का भी उपयोग कर रही है. दक्षिण पश्चिम चीन के तिब्बत स्वायत्त क्षेत्र के नगरी प्रान्त के रुतोग काउंटी में तिब्बती मिलिशिया सैनिक की सप्लाई यूनिट चीनी पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) के सैनिकों को साजो सामान पहुंचा रही है. चीनी कम्युनिस्ट पार्टी की रुतोग काउंटी पार्टी समिति और सरकार ने चीनी सैनिकों को हर कीमत पर सामान और गोला-बारूद पहुंचाने के आदेश जारी किए हैं.
With these drones, the PLA’s frontline soldiers can enjoy hot meals once winter reaches the plateau. Some sympathize with the nearby Indian soldiers who can only eat cold canned food and have to endure the severe cold and potential spread of COVID-19. pic.twitter.com/Rci5H8Wbmy
— Hu Xijin 胡锡进 (@HuXijin_GT) September 11, 2020
इससे पहले ग्लोबल टाइम्स ने लिखा कि PLA सुदूर क्षेत्रों में तैनात सैनिकों के लिए रसद सहायता प्रदान करने में ड्रोन जैसी उन्नत तकनीकों का उपयोग कर रहा है. कुछ स्थानों के लिए जहां बड़ी मात्रा में आपूर्ति की आवश्यकता होती है वहां इनकी सहायता के अलावा खच्चरों और घोड़ों जैसे पारंपरिक साधन अधिक व्यावहारिक हैं. हालांकि, चीन ने अभी तक ड्रोन के जरिए सैनिकों को साजोसामान पहुंचाने का कोई वीडियो जारी नहीं किया है.
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